Uttarakhand News 18 Feb 2025: देहरादून। रायपुर क्षेत्र में जनसेवा केंद्र में हुई लूट के तीन बदमाशों को पुलिस ने मुठभेड़ के बाद गिरफ्तार कर लिया है। एक बदमाश के पैर व हाथ में गोली लगी है। घटना में शामिल दो बदमाश फरार हैं, जिनकी गिरफ्तारी के लिए दबिश दी जा रही है। एक बदमाश के खिलाफ दिल्ली में हत्या, लूट व आर्म्स एक्ट के तहत मुकदमे दर्ज हैं। पूरी घटना का मास्टरमाइंड जनसेवा केंद्र का एक परिचित है, जिसने पूर्व में केंद्र से लोन लिया था।

वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अजय सिंह ने बताया कि 11 मार्च को दिनदहाड़े तीन बदमाशों ने रायपुर स्थित वाणी विहार भगत सिंह कॉलोनी में पाल जनसेवा में घुसकर तमंचा दिखाकर लूट की घटना को अंजाम दिया था। दिनदहाड़े हुई लूट की घटना की गंभीरता को देखते हुए एसपी जया बलूनी की देखरेख में एसओजी व रायपुर थाना पुलिस की विभिन्न टीमें बनाकर आसपास सीसीटीवी कैमरे खंगाले गए।

घटना में बिजनौर के गिरोह के शामिल होने की जानकारी मिली। सर्विलांस में कुछ संदिग्ध मोबाइल नंबर भी मिले, जिसके आधार पर पुलिस टीम ने जनसेवा केंद्र के मालिक के परिचित दिलशाद निवासी ग्राम मसीद चांदपुर जिला बिजनौर, वर्तमान निवासी चंदननगर देहरादून को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया।

लूट का हिस्सा लेने आने की मिली सूचना
पूछताछ में उसने बताया कि साथियों की मदद से उन्होंने लूट की घटना को अंजाम दिया था। बताया कि घटना में साहिल व कामिल दोनों निवासी मोहल्ला सासनगंज चांदपुर जिला बिजनौर शामिल हैं। वह अपना हिस्सा लेने के लिए सोमवार तड़के देहरादून आने वाले हैं। सूचना पर बदमाशों की धरपकड़ के लिए सभी थाना प्रभारियों को अपने-अपने थाना क्षेत्रों में बदमाशों की तलाश के लिए चेकिंग अभियान चलाने के निर्देश दिए गए। एसओजी की टीम को सूचना मिली कि दोनों बदमाश एक सफेद रंग की स्कूटी में ऋषिकेश से रानीपोखरी की ओर आ रहे हैं।

स्कूटी रोकने पर भागने लगे बदमाश
रानीपोखरी पुलिस ने वीरपुर मोड पर चेकिंग के दौरान ऋषिकेश से आ रही सफेद रंग की स्कूटी को रुकने का इशारा किया, तो स्कूटी सवार दोनों पुलिस टीम को देखकर स्कूटी वापस मोड़ते हुए ऋषिकेश की ओर भाग गए। पुलिस टीम ने उनका पीछा किया तो बदमाशों ने पुलिस से बचने के लिए मंशा देवी मंदिर से पहले जंगल की ओर कच्चे रास्ते पर भागे, जहां थोड़ा आगे जाने के बाद स्कूटी पत्थरों पर फिसल गई तथा दोनों बदमाश जंगल की ओर भाग गए। इनमें से एक ने पुलिस टीम पर फायर कर दिया।

पुलिस की जवाबी फायरिंग में घायल हुआ बदमाश
पुलिस ने जवाबी फायर किया तो बदमाश साहिल के पैर व हाथ में गोली लग गई जबकि दूसरा फरार हो गया। सर्च अभियान के दौरान दूसरे बदमाश कामिल को कुछ दूरी पर जंगल से गिरफ्तार किया गया। मुठभेड़ में घायल साहिल के कब्जे से पुलिस टीम ने चोरी की स्कूटी एक देसी तमंचा व कारतूस बरामद किए।

दिलशाद की पांच वर्ष पहले सेंटर मालिक से हुई मुलाकात
पूछताछ में घटना के मास्टरमांइड दिलशाद ने बताया कि वह वर्ष 2012 में देहरादून आया था तथा तब से ही चंदननगर में किराए पर रहकर होटल चला रहा है। पांच वर्ष पूर्व उसकी मुलाकात जनसेवा केंद्र के मालिक अरुणपाल के भाई मंजीत से हुई थी, जिसने होटल व्यवसाय बढ़ाने के लिए तीन लाख रुपये का लोन दिलाने की बात कही थी। लोन के सिलसिले में उसका मंजीत के जनसेवा केंद्र में आना-जाना लगा रहता था।

एक दूसरे से परिचित थे
आरोपित साहिल व दिलशाद एक ही गांव के रहने वाले हैं तथा पूर्व से एक दूसरे के परिचित हैं। आरोपित दिलशाद को जानकारी थी कि जनसेवा केंद्र में काफी नकदी रहती है, जिस पर दिलशाद ने साहिल के साथ मिलकर मंजीत के जनसेवा केंद्र में लूट की योजना बनाई और योजना के संबंध में साहिल ने अपने चाचा कामिल को तैयार किया।

साहिल ने घटना के लिए दिल्ली के बदमाशों को किया तैयार
एसएसपी अजय सिंह ने बताया कि साहिल के विरुद्ध दिल्ली में भी हत्या का मुकदमा चल रहा था तथा वह अकसर दिल्ली कोर्ट में पेशी पर आया-जाया करता था। इस दौरान कोर्ट में उसकी पहचान जहांगीरपुरी दिल्ली निवासी बदमाश मोहित व राहुल से हुई जोकि अन्य अपराधों में पेशी पर कोर्ट में आते थे।

साहिल ने दोनों को जनसेवा केंद्र में मोटी रकम मिलने की बात कहकर अपने साथ शामिल कर लिया। योजना के मुताबिक 11 मार्च को साहिल बिजनौर से जबकि मोहित व राहुल दिल्ली से आइएसबीटी देहरादून पहुंचे, यहां उनकी मुलाकात दिलशाद से हुई।

लूट के लिए रेलवे स्टेशन के पास से चुराई स्कूटी
आइएसबीटी से दिलशाद, मोहित व राहुल को अपने साथ रेलवे स्टेशन तक लेकर आया, जहां मोहित ने रेलवे स्टेशन के पास से ही घटना को अंजाम देने के लिए एक स्कूटी चोरी की। इसके बाद तीनों भगत सिंह कॉलोनी के पास पुल पर पहुंचे, जहां साहिल और राहुल उनका इंतजार कर रहे थे।
इसके बाद साहिल, राहुल व मोहित जनसेवा केंद्र में घुसे जबकि दिलशाद व कामिल बाहर देखरेख कर रहे थे। तमंचा दिखाकर तीनों ने सेंटर से 70 हजार रुपये लूटे और फरार हो गए। घटना का अनावरण करने वाली पुलिस टीम को एसएसपी ने 25 हजार रुपये के पुरस्कार से पुरस्कृत करने की घोषणा की है।